क्या है बिटकॉइन जिसकी कीमत आसमान छू रही है
क्रिप्टोकरेंसी बिटकॉइन की कीमत बुधवार को पहली बार 20 हजार डॉलर के पार चली गई है. आखिर क्या है ये करेंसी और कैसे काम करती है. दुनिया भर में कभी यह कुख्यात भी हई थी.
तीन साल पहले यही वो वक्त था जब पहली बार अमेरिकी शेयर बाजार वॉल स्ट्रीट में इसके कारोबार को मंजूरी मिली और तब इसकी कीमत आसमान पर पहुंच गई. बीच में काफी बुरा हाल देखने के बाद इसकी कीमत नई ऊंचाइयों को छू रही है.
अनिश्चितता के दौर में पैसा सुरक्षित रखने के दूसरे तरीकों की तरह ही बिटकॉइन को भी कोरोना महामारी से काफी फायदा हुआ है. सोना, चांदी, प्लैटिनम की कीमत इस दौर में कई गुना बढ़ी है और बिटकॉइन भी इसमें शामिल हो गया है. बिटकॉइन की खास संरचना के कारण अब और बिटकॉइन ज्यादा संख्या में नहीं बन पा रहा है ऐसे में जो बिटकॉइन हैं उनका कारोबार तेज हो गया है.बिटकॉइन की शुरुआत कैसे हुई
बिटकॉइन कैसे काम करता है
बिटकॉइन एक डिजिटल मुद्रा है. यह किसी बैंक या सरकार से नहीं जुड़ी है और इसे बिना पहचान जाहिर किए खर्च किया जा सकता है. बिटकॉइन के इन सिक्कों बिटकॉइन की शुरुआत कैसे हुई को यूजर बनाते हैं. इसके लिए उन्हें इनको "माइन" करना पड़ता है. "माइन" के लिए उन्हें गणना करने की क्षमता देनी होती है और इसके बदले में उन्हें बिटकॉइन मिलते हैं. बिटकॉइन के सिक्कों को शेयर बाजारों में अमेरिकी डॉलर और दूसरी मुद्राओं के बदले खरीदा भी जा सकता है. कुछ कारोबार में बिटकॉइन मुद्रा के रूप में इस्तेमाल होती है हालांकि बीते कुछ सालों में इसकी लोकप्रियता ठहरी हुई है.
तस्वीर: picture-alliance/empics/D. Lipinski
बिटकॉइन के साथ क्या हुआ है
दिसंबर 2017 में बिटकॉइन फ्यूचर को अमेरिकी शेयर बाजार वॉल स्ट्रीट में कारोबार की इजाजत मिली. शिकागो मर्केंटाइल एक्सचेंज और शिकागो बोर्ड ऑप ट्रेड ने इनकी खरीद बिक्री को मंजूरी दी थी. बिटकॉइन को लेकर दिलचस्पी इतनी ज्यादा थी कि कारोबार की अनुमति मिलते ही इसकी कीमतों में भारी उछाल आया. 2017 के शुरुआत में इस मुद्रा की कीमत 1000 डॉलर थी जो साल के आखिर में बढ़ कर 19,783 तक पहुंच गई.
हालांकि कारोबार शुरू होने के बाद बिटकॉइन फ्यूचर अगले कुछ महीनों में तेजी से नीचे आया. एक साल बाद ही इसकी कीमत घट कर 4000 डॉलर पर चली गी. निवेशकों और बिटकॉइन में दिलचस्पी रखने वालों ने बताया कि 2017 में आए उछाल की बड़ी वजहें सट्टेबाजी और मीडिया का आकर्षण थे.
अभी बिटकॉइन का क्या मोल है
कॉइनबेस के मुताबिक एक बिटकॉइन की कीमत लगभग 20,700 डॉलर है. कॉइनबेस एक प्रमुख डिजिटल करेंसी एक्सचेंज है जो दूसरे टोकन और मुद्राओं का भी कारोबार करती है. हालांकि बिटकॉइन की कीमत अस्थिर है और यह एक हफ्ते में ही सैकड़ों या हजारों डॉलरों का उतार चढ़ाव देखती है. एक महीने पहले इसकी कीमत 17,000 डॉलर थी और एक साल पहले 7000 डॉलर.
बिटकॉइन एक बहुत जोखिम वाला निवेश है और पारंपरिक निवेश के तरीकों जैसे कि शेयर या फिर बॉन्ड की तरह व्यवहार नहीं करता, जब तक कि खरीदार कई सालों तक इस मुद्रा को अपने पास ना रखे. उदाहरण के लिए एसोसिएटेड प्रेस ने 100 अमेरिकी डॉलर की कीमत के बिटकॉइन खरीदे ताकि वह इस मुद्रा पर नजर रख सके और व्यापार में इसके इस्तेमाल के बारे में खबर दे सके. इस पोर्टफोलियो का खर्च इस महीने जा कर अपने मूलधन पर पहुंचा है.
बिटकॉइन को इतना पसंद क्यों किया गया
बिटकॉइन वास्तव में एक कंप्यूटर कोड की श्रृंखला है. यह जब भी एक यूजर से दूरे के पास जाता है तो इस पर डिजिटल सिग्नेचर किए जाते हैं. लेन देन खुद को गोपनीय रख कर भी किया जा सकता है. इसी वजह से यह आजाद ख्याल के लोगों, तकनीकी दुनिया के उत्साही, सटोरियों और अपराधियों के बीच काफी लोकप्रिय है.
बिटकॉइन को डिजिटल वॉलेट में रखा जाता है. इस वॉलेट को या तो कॉइनबेस जैसे एक्सचेंज के जरिए ऑनलाइन हासिल किया जा सकता है या फिर ऑफलाइन हार्ड ड्राइव में एक खास सॉफ्टवेयर के जरिए. बिटकॉइन का समुदाय यह तो बिटकॉइन की शुरुआत कैसे हुई जानता है कि कितने बिटकॉइन हैं लेकिन वे कहां हैं इसके बारे में सिर्फ अंदाजा ही लगाया जा सकता है.
कौन इस्तेमाल करता है बिटकॉइन
कुछ कारोबार बिटकॉइन का इस्तेमाल कर रहे हैं जैसे कि ओवरस्टॉक डॉट कॉम बिटकॉइन में भुगतान स्वीकार करता है. मुद्रा इतनी मशहूर है कि ब्लॉकचेन. इंफो के मुताबिक औसतन हर दिन 3,00,000 लेने देन होते हैं. हालांकि इसकी लोकप्रियता नगद या क्रेडिट कार्ड की तुलना में कम ही है. बहुत सारे लोग और कारोबार में इसे भुगतान के लिए इस्तेमाल नहीं किया जा सकता.
बिटकॉइन की सुरक्षा
बिटकॉइन नेटवर्क सामूहिक अच्छाई के लिए कुछ लोगों की लालसा पर निर्भर करता है. तकनीक के जानकार कुछ लोग जिन्हें माइनर कहा जाता है वो इस तंत्र में गणना की क्षमता ब्लॉकचेन में डाल कर इसे ईमानदार बनाए रखते हैं. ब्लॉक चेन हर बिटकॉइन के लेनदेन का हिसाब रखता है. इस तरह से यह उन्हें दो बार बेचे जाने को रोकता है और माइनरों को उनकी कोशिशों के लिए जब तक तोहफों में बिटकॉइन दिए जाते हैं. जब तक माइनर ब्लॉकचेन को सुरक्षित रखेंगे इसकी नकल करके नकली मुद्रा बनने का डर नहीं रहेगा.
यहां तक कैसे पहुंचा बिटकॉइन
यह एक रहस्य है. बिटकॉइन को 2009 में एक शख्स या फिर एक समूह ने शुरू किया जो सातोषी नाकामोतो के नाम से काम कर रहे थे. उस वक्त बिटकॉन को थोड़े से उत्साही लोग ही इस्तेमाल कर रहे थे. जब ज्यादा बिटकॉइन की शुरुआत कैसे हुई लोगों का ध्यान उस तरफ गया तो नाकामोतो को नक्शे से बाहर कर दिया गया. हालांकि इससे मुद्रा को बहुत फर्क नहीं पड़ा यह सिर्फ अपनी आंतरिक दलीलों पर ही चलता रहा.
2016 में एक ऑस्ट्रेलिया उद्यमी ने खुद को बिटकॉइन के संस्थापक के रूप में पेश किया. हालांकि कुछ दिनों बाद ही उसने कहा कि उसके पास सबूतों को जाहिर करने की "हिम्मत नहीं है." इसके बाद से इस मुद्रा की जिम्मेदारी किसी ने नहीं ली है.
Bitcoin ki Mining kaise hoti hai | Bitcoin Mining क्या है?
Bitcoin ki Mining kaise hoti hai
Bitcoin Mining क्या है (What is Bitcoin Mining in Hindi). What is Bitcoin ki Mining kaise hoti hai. Bitcoin mining क्या आप यह जानते हैं
क्या आप जानते हैं बिटकॉइन माइनिंग क्या होता है आर्टिकल के माध्यम से हम आपको बहुत ही आसान भाषा में बताने की कोशिश करेंगे कि Bitcoin Mining क्या है? बिटकॉइन माइनिंग कैसे होती है? तो सबसे पहले हम जानते हैं कि बिटकॉइन क्या है? बिटकॉइन के उपयोग क्या है
प्रश्न पर पर क्लिक करे और उत्तर पर जाए
Bitcoin Mining क्या है?
Bitcoin एक डिजिटल क्रिप्टोकरंसी है जिसे कोई भी उसे रेगुलेट नहीं करता है बिटकॉइन को हम छू नहीं सकते हैं हम सिर्फ उसे देख सकते हैं यह हमारे Digital Wallet में जमा होता है जैसे कि Mobile, Computer या Laptop में
बहुत सारे कंपनी मार्केट में Available है जो कि आपको डिजिटल वॉलेट बना कर देते हैं वहीं अकाउंट पर आपका बिटकॉइन जमा रहता है
Bitcoin ki Mining kaise hoti hai
जब हम अपने पैसे को किसी दूसरे के अकाउंट में बैंक के द्वारा पैसे भेजते हैं तो वह पैसे सबसे पहले Bank के पास जाता है और Bank Verification करता है उस व्यक्ति को जिस व्यक्ति को पैसे भेजना चाहता है
जब Verification पूरा हो जाता है तब वह पैसे उस व्यक्ति को भेज दिया जाता है तब उस पैसे का कुछ परसेंट पैसे बैंक रखती है पैसे ट्रांसफर या ट्रांजैक्शन करने का
उसी तरह जब कोई दो व्यक्ति एक दूसरे को बिटकॉइन ट्रांसफर करते हैं और उस व्यक्ति का ट्रांजैक्शन वेरीफाई करने के लिए बीच में बैक नहीं होता है इसके बीच में Ledger Maintain Computer होता है इस ट्रांजैक्शन को वेरीफाई करने के लिए और इन्हीं Computer को Mining मशीन कहा जाता है
उसी तरह जब कोई दो व्यक्ति एक दूसरे को बिटकॉइन ट्रांसफर करते हैं और उस व्यक्ति का ट्रांजैक्शन वेरीफाई करने के लिए बीच में बैक नहीं होता है इसके बीच में Ledger Maintain Computer होता है इस ट्रांजैक्शन को वेरीफाई करने के लिए और इन्हीं Computer को Mining मशीन कहा जाता है
Ledger Maintain Computer के पीछे सिर्फ एक Computer नहीं होता है इसमें बहुत सारे कंप्यूटर होता है जो कि एक दूसरे से जुड़ा होता है और इस कैलकुलेशन की प्रक्रिया को पूरा करता है यह कैलकुलेशन इतना कठिन होता है जोकि एक सामान्य कंप्यूटर पूरा नहीं कर सकता है
जब वह बिटकॉइन उस व्यक्ति के पास पहुंच जाता है तब उस बिटकॉइन का कुछ पॉइंट्स उस कंप्यूटर के पास पहुंच जाता है जो लोग बिटकॉइन माइनिंग करता है
सिर्फ Ledger Maintain Computer का वही काम नहीं होता है बल्कि इसका और भी काम होता है जैसे कि कोई भी बिटकॉइन का ट्रांजैक्शन करता ह तो Computer उस ट्रांजैक्शन को वेरीफाई करता है और उस वेरीफाई को ब्लॉक चल पर सेव करके रखता है
Bitcoin माइन कैसे करें?
Bitcoin Mining कैसे किया जाता है? तो हम आपको बता दें Bitcoin Mining करना ज्यादा आसान भी नहीं है और ज्यादा मुश्किल भी नहीं है बिटकॉइन माइनिंग करने के लिए आपके पास एक अच्छा Computer होना चाहिए तभी आप बिटकॉइन की माइनिंग अच्छी तरह से कर पाएंगे
Bitcoin Mining करने के लिए एक अच्छा एक Compuer और उसमें अच्छे RAM औरGrafic Card होने चाहिए उसके बाद आपके पास एक Vitcoin Mining Software भी होना चाहिए तभी आप उस सॉफ्टवेयर की मदद से आप बिटकॉइन को माइनिंग कर पाएंगे
Bitcoin Mining करने के लिए investment
- 24 घंटे बिजली की व्यवस्था
- Good Internet Connection की व्यवस्था
- एक Computer की व्यवस्था
- Computer में अच्छे Hardware की व्यवस्था
Note – अगर आप Bitcoin Mining करना चाहते हैं तब आप को इन सारे पॉइंट्स को ध्यान में रखते हुए Mining शुरू कर सकते हैं क्योंकि इसमें आपके बिजली बहुत लगेगी और Computer में अच्छे Graphic Card होने चाहिए आप के कंप्यूटर में जितने ज्यादा ग्राफिक कार्ड रहेंगे आप उतना ज्यादा बिटकॉइन माइनिंग कर पाएंगे
बिटकॉइन की शुरुआत कैसे हुई
जब Bitcoin की शुरुआत हुई थी तब उस ज्यादा लोग Bitcoin की Mining नहीं कर रहे थे क्योंकि Bitcoin के ट्रांजैक्शन काफी कम होते थे और कुछ लोग ही Bitcoin Mining करते थे और उस समय बिटकॉइन माइनिंग करने के लिए Normal Computer की जरूरत पड़ती थी
लेकिन अभी के समय में Bitcoin Minner की संख्या काफी ज्यादा हो गई है इसीलिए आपको एक अच्छे Hardware वाले Computer की आवश्यकता पढ़ती है Bitcoin Mining करने के लिए
Conclusion
हमने आपको इस आर्टिकल के माध्यम से बिटकॉइन किया है? Bitcoin ki Mining kaise hoti hai और बिटकॉइन माइनिंग से रिलेटेड सारे सवालों के जवाब हम आपको दे दिए हैं अगर अभी बिटकॉइन माइनिंग करना चाहते हैं तो Bitcoin Mining शुरू कर सकते हैं और आपको यह आर्टिकल कैसा लगा आप हमें कमेंट में जरूर बताइए
Bitcoin Mining FAQ in Hindi
Q. Bitcoin कैसे तैयार होती है
Ans. Total Bitcoin 21 Million ही है और इसी में लोग अब माइनिंग करके अपने बिटकॉइन को जमा कर रहे हैं
Q. बिटकॉइन की शुरुआत कैसे हुई?
Ans. 3 जनवरी 2009 को Bitcoin Cryptocurrency बनाया गया था Bitcoin की शुरुआत नाकामोटो ने किया था
Q. बिटकॉइन की शुरुआती कीमत क्या थी?
Ans. जब Bitcoin की शुरुआत हुई थी तब एक Bitcoin की किमत एक रूपए से भी कम था
Q. बिटकॉइन कौन से देश में चलता है?
Ans. Bitcoin सभी देश में चलता है Bitcoin एक Digital Cryptocurrency है Bitcoin से सिर्फ ऑनलाइन ही पेमेंट किया जा सकता है
Q. आज की डेट में बिटकॉइन की कीमत क्या है?
Ans. बिटकॉइन का दाम हर रोज घटते बढ़ते रहता है लेकिन अभी के समय में 1 Bitcoin की कीमत 32 लाख रूपए के आसपास है
Q. आज से 10 साल पहले बिटकॉइन की कीमत क्या थी?
Ans. 2010 में 1 Bitcoin की कीमत 37 पैसे थे
Q. बिटकॉइन कंपनी का मालिक कौन है?
Ans. Bitcoin का मालिक Satoshi Nakamoto है जो कि जापान के रहने वाले हैं Bitcoin की शुरुआत 9 जनवरी 2009 में किया था Bitcoin को BTC के नाम से भी जाना जाता है
Q. फ्री में बिटकॉइन कैसे कमाए?
Ans. फ्री में बिटकॉइन कमाने के लिए आप Bitcoin की Mining कर सकते हैं
'Bitcoin trading'
पिछले वर्ष नवंबर में बिटकॉइन ने 67,000 डॉलर से अधिक का हाई बनाया था। इसके बाद से इसमें काफी गिरावट आई है। इसका प्राइस गिरने से बड़ी संख्या में इनवेस्टर्स के साथ ही इस सेगमेंट से जुड़ी फर्मों को भी बड़ा नुकसान हुआ है
दूसरी सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी Ether को इथेरियम ब्लॉकचेन के पिछले महीने अपग्रेड से फायदा मिला है और पिछले कुछ दिनों से तेजी जारी है
आमतौर पर यह मंदी का एक संकेत होता है जो प्राइस के ब्रेकडाउन से पहले दिखता है। हालांकि, ऐसे अधिकतर ट्रेडिंग पैटर्न कुछ और स्थिति बनाते हैं। इस वजह से यह पक्का नहीं है कि राइजिंग वेज पैटर्न पूरा होगा
आमतौर पर यह मंदी का एक संकेत होता है जो प्राइस के ब्रेकडाउन से पहले दिखता है. हालांकि, ऐसे अधिकतर ट्रेडिंग पैटर्न कुछ और स्थिति बनाते हैं. इस वजह से यह पक्का नहीं है कि राइजिंग वेज पैटर्न पूरा होगा
ईरान में लगभग तीन वर्षों से क्रिप्टो माइनिंग को एक वैध इंडस्ट्रियल एक्टिविटी के तौर पर स्वीकार किया गया है। बिटकॉइन जैसी क्रिप्टोकरेंसीज की माइनिंग के लिए कई फर्मों को लाइसेंस दिया गया है
ईरान में लगभग तीन वर्षों से क्रिप्टो माइनिंग को एक वैध इंडस्ट्रियल एक्टिविटी के तौर पर स्वीकार किया गया है। बिटकॉइन जैसी क्रिप्टोकरेंसीज की माइनिंग के लिए कई फर्मों को लाइसेंस दिया गया है
इस क्रिप्टोकरेंसी का प्राइस लगभग 22,600 डॉलर के इसके 200 सप्ताह के मूविंग एवरेज और लगभग 35,500 डॉलर के इसके 200 दिन के मूविंग एवरेज से नीचे आ गया है
इस क्रिप्टोकरेंसी का प्राइस लगभग 22,600 डॉलर के इसके 200 सप्ताह के मूविंग एवरेज और लगभग 35,500 डॉलर के इसके 200 दिन के मूविंग एवरेज से नीचे आ गया है
क्या हैं बिटकाइन (What are Bitcoin).
बिटकाइन एक( Bitcoin Digital Cryptocurrency ) डिजिटल क्रिप्टोकरेंसी हैं इसे वर्चुल करेंसी ( Virtual Currency ) भी बोला जाता है bitcoin के पास किसी भी तरह के इंडियन रुपया अमेरिकन डॉलर या यूरो जैसी कोई करेंसी भौतिक रूप से नहीं है जैसे की आप रुपया डॉलर को छु और देख भी सकते हैं लेकिन बिटकाइन को ना देखा और नहीं छुआ जा सकता हैं क्रिप्टोकरेंसी क्रिप्टो प्रोग्राम पर आधारित हैं बिटकाइन को वर्चुल करेंसी या ऑनलाइन मुद्रा के रूप में समझा जा सकता है बिटकाइन पियर टू पियर भुगतान कैश सिस्टम माना जाता हैं इसे रखने के लिए आपको एक डिजिटल वॉलेट की आवश्यकता होती हैं क्रिप्टोकरेंसी को रखने के लिए किसी भी बैंक या वितीय संसथान की कोई आवस्यकता नहीं हैं बिटकाइन बनाने वाले व्यक्ति जापान के रहने वाले नागरिक हैं लेकिन बिटकाइन को किसी एक देश का मुद्रा नहीं कहा जा सकता हैं !
बिटकाइन कैसे बनता हैं ( how bitcoins are made).
माना जाता हैं की बिटकाइन की सबसे छोटी यूनिट सतोशी हैं इस तरह एक बिटकाइन = 10,00,00,000 cr (करोड़ ) सतोशी होता हैं जैसे इंडियन करेंसी में एक रूपये का सौ पैसा होता हैं वैसे ही 10cr करोड़ सातोशी से मिलकर एक बिटकाइन तैयार होता हैं आप चाहे तो एक बिटकाइन को आठ डिसमिल तक बिटकॉइन की शुरुआत कैसे हुई तोड़ सकते हैं आप (0.0001) Bitcoun भी इस्तेमाल में ला सकते हैं बिटकाइन एक विकेंद्रीकृत डिजिटल मुद्रा हैं इसको माइनिंग करके बनाया जाता हैं ( A competitive And Decentralized Process Called mining).
बिटकाइन की शुरुआत किस वर्ष हुई थी (what year was bitcoin started).
बिटकाइन की शुरुआत वर्ष 2009 में हुइ आरम्भ में जब cryptocurrency शुरू की गई, तो सतोशी नाकामोतो ने बिटकॉइन जेनेसिस ब्लॉक (बिटकोइन ब्लॉकचैन पर प्रथम कभी ब्लॉक) को खनन किया, 50 बीटीसी ने $0.00 की कीमत पर संचलन दर्ज किया था बिटकाइन के जन्मदाता (Satoshi Nakamoto) को माना जाता हैं बिटकाइन अब इतनी अधिक लोकप्रियता हासिल कर चुकी हैं की अब इसकी कीमत लगभग (50 Lac) पचास लाख रुपये के करीब पहुच चुकी हैं.
बिटकाइन क्रिप्टोकरेंसी में कैसे इन्वेस्ट करें (How to invest in bitcoin cryptocurrency).
- सबसे पहले आप एक क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज की पहचान करे Example के लिए इंडिया में कुछ नामी Crypto Exchange हैं ( ZebPay ). (UNOCOIN). (Bitstamp). (WazirX). (coinDCX) ये सभी exchange बिटकाइन क्रिप्टोकरेंसी के लिए जानी जाती हैं आप चाहे तो इनके प्लेटफार्म का यूज़ करके क्रिप्टोकरेंसी खरीद और बेच सकते हैं .
- Cryptocurrency Exchange के पहचान के बाद अपना एक सुरक्षित अकाउंट ओपन करिए.
- उसको अपने बैंक अकाउंट के साथ जोड़कर ट्रांजेकसन को आसन बनाये.
- आप हमेशा वैल्यू वाला क्रिप्टोकरेंसी में ही निवेश करें
- वैसे तो अलग अलग cryptocurrency अब मार्केट में मौजूद हैं लेकिन सभी करेंसी का मदर करेंसी बिटकाइन को माना जाता हैं.
- हमेशा सोच समझकर किसी एक्सपर्ट से राय सलाह मशवरा करके ही क्रिप्टो करेंसी की दुनिया में अपना कदम रखे .
- ज्यादा से ज्यादा ग्राफ को एनलाईस करें शुरुआती से लेकर
क्या भारत में बिटकाइन लीगल हैं (Is bitcoin legal in india).
बिटकाइन का ट्रांजेक्शन ऑनलाइन होता हैं जो ब्लाकचेन टेक्नोलॉजी पर आधारित हैं इसको वर्चुअल स्पेस में रखा जा सकता हैं हालाँकि अभी इंडिया में बिटकाइन लीगल नहीं हैं क्युकी इसका इस्तेमाल गैरकानूनी कामो में लिया जाने लगा हैं जो किसी भी देश के लिए सही नहीं हैं गलत गतिविधी वाले लोग इसका इस्तेमाल आसानी से करने लगे हैं क्युकी बिटकाइन पर किसी भी संस्थान का कण्ट्रोल अभी तक नहीं हैं.
ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी क्या हैं (What are Blockchain Technologies).
ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी एक ऐसी तकनीक हैं जो बिना किसी मध्यम के ही लेनदेन को सफल और सुरक्षित बनता हैं इन्टरनेट पर ही लेनदेन के लिए ब्लॉकचेन तकनीक का इस्तेमाल किया जा सकता हैं ये तकनीक बहुत ही पारदर्शी सुरक्षित और सक्षम हैं ब्लॉकचेन एक ऐसा टेक्नोलॉजी हैं जो वितीय लेनदेन के लिए प्रोग्राम के रूप में तैयार किया गया हैं
GainBitcoin – भारत का सबसे बड़ा बिटकॉइन स्कैम, जिसमें पैसे लगाने वालों को कुल मिलाकर मिला 1 लाख करोड़ तक धोखा
GainBitcoin की शुरुआत 2015 में हुई थी और इसका मास्टरमंद अमित भारद्वाज था। हालांकि इस स्कैम खबर पहले आ चुकी है, लेकिन अब ये और बड़ा रूप ले रहा है। हाल ही सामने आयी रिपोर्ट से पता चला है कि इस बिटकॉइन मार्केटिंग स्कीम में लगभग 1 लाख लोगों ने पैसे लगाए, जिन्हें कुल मिलाकर 1 ट्रिलियन, यानि लगभग 1 लाख करोड़ तक नुक्सान हुआ है।
Gainbitcoin घोटाला
ये एक पोंज़ी मार्केटिंग स्कीम है। इस स्कीम के मास्टरमाइंड अमित भरद्वाज के साथ सात लोग थे, जो दुनिया भर में इसे चला रहे थे। इस स्कीम में लोगों को यह कहकर आकर्षित किया जाता था कि ये एक आकर्षक स्कीम है जिसमें आप पैसा लगाएंगे तो 18 महीनों तक उसका 10% रिटर्न मिलेगा। यानि अगर आप 10,000 रूपए लगाते हैं, तो आपको 18 महीनों तक हर महीने 1000 रूपए मिलेंगे। इसी ऑफर के चलते, जिन लोगों को क्रिप्टो करेंसी का ज़्यादा पता नहीं है, उन्होंने इसमें काफी निवेश किया।
GainBitcoin क्रिप्टोकोर्रेंसी स्कैम की जांच में क्या हुआ ?
इसमें लगभग 40 लोगों ने FIR भी दर्ज की है, जिनमें से महाराष्ट्र और पंजाब में 13 FIR की गयी हैं। लेकिन अब पुणे पुलिस ने GainBitcoin केस में 60,000 यूज़र आईडी ट्रेस की हैं, जिन्होंने इस स्कीम में अपनी मेहनत की कमाई लगाई थी।
पहले मुख्य आरोपी अमित भरद्वाज थे, लेकिन इस साल के शुरुआत में ही उनकी मौत हो गयी और ये सुई उनके भाई अजय भारद्वाज की तरफ घूम गयी है। ED का कहना है कि अजय के पास क्रिप्टो वॉलेट का पासवर्ड और यूज़रनेम है, जो उन्हें अब इस केस के जांच अधिकारी को दे देना चाहिए। अभी इसी महीने की शुरुआत में ED दिल्ली स्थित दफ्तर के साथ 6 जगहों पर छापेमारी की है, जहां कई इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस और 1 लाख से अधिक निवेशकों से सम्बंधित कई कागज़ात भी ज़ब्त किये हैं।
ED के अनुसार, इस मार्केटिंग स्कीम में अमित भारद्वाज, अजय भारद्वाज, विवेक भारद्वाज, महेन्दर भारद्वाज सहित 7 लोगों ने मिलकर अलग-अलग क्रिप्टो वॉलेट में 80,000 से ज़्यादा बिटकॉइन इकट्ठा किये और इस समय इनकी कीमत 1 लाख करोड़ से ज़्यादा है।
अभी तक अजय भारद्वाज द्वारा क्रिप्टो वॉलेट के पासवर्ड, यूज़रनेम को शेयर नहीं किया गया है और सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें अगले महीने फिर बुलाया इसी संदर्भ में कोर्ट बुलाया है। ED का कहना है कि अभी कुछ और क्रिप्टो वॉलेट ट्रेस नहीं हो पाए हैं, जिनका सम्बन्ध इन आरोपियों से है।
हालांकि सभी अधिकारी व सम्बन्ध दफ्तर अपना काम कर रहे हैं, लेकिन इतना तो तय है कि इस घोटाले में जिन लोगों ने निवेश किया था, अब उनका पैसा उन्हें शायद कभी वापस नहीं मिलेगा।
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