2021 में फिनलैंड रहा विश्व का सबसे खुश राष्ट्र।

क्या होता है Air Quality Index और कैसे करता है काम, जानें सब कुछ

वायु गुणवत्ता सूचकांक, यह दरअसल एक नंबर होता है जिसके जरिए हवा का गुणवत्ता पता लगाया जाता है. साथ इसके जरिए भविष्य में होने वाले प्रदूषण के स्तर का भी पता लगाया जाता है.

By: एबीपी न्यूज़ | Updated at : 09 Nov 2020 11:30 AM (IST)

नई दिल्ली: दिल्ली में हवा की गुणवत्ता का स्तर लगातार खराब दर्ज हो रहा है. ज़्यादातर इलाक़ो में AQI 400 के पार. दिल्ली में सुबह सवेरे स्मॉग ज़्यादातर इलाक़ो में है और शाम के वक़्त भी स्मोग देखने को मिल रहा है. लेकिन आज सुबह के वक़्त दिल्ली और एनसीआर का AQI तो काफी ज़्यादा है.

स्मॉग ना होने से विजिबिलिटी में भी कमी नहीं आई है. पिछले कुछ दिनों में लगातार प्रदूषण का स्तर बढ़ता हुआ दिख रहा है. दिल्ली के प्रमुख इलाकों की बात करें तो आनंद विहार में एक्यूआई 484, मुंडका में 470, ओखला फेज 2 में 465, वरीजपुर में 468 दर्ज किया गया.

क्या होता है AQI- Air Quality Index, कैसे करता काम? Air Quality Index या फिर हिंदी में कहें तो वायु गुणवत्ता सूचकांक, दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? यह दरअसल एक नंबर होता है जिसके जरिए हवा का गुणवत्ता पता लगाया जाता है. साथ इसके जरिए भविष्य में होने वाले प्रदूषण के स्तर का भी पता लगाया जाता है.

हर देश का Air Quality Index वहां मिलने वाले प्रदूषण कारकों के आधार पर अलग अलग होता है. भारत में एक्यूआई को मिनिस्ट्री ऑफ एनवायरोमेंट, फॉरेस्ट और क्लाइमेट चेंज ने लॉन्च किया. इसे 'एक संख्या, एक रंग, एक विवरण' के आधार पर लॉन्च किया गया था. दरअसल देश में अभी बहुत बड़ी आबादी है जो शिक्षित नहीं है, इस लिए उन्हें प्रदूषण की गंभीरता को समझाने के लिए इसमें रंगों को भी शामिल किया गया.

एक्यूआई को इसकी रीडिंग के आधार पर छह दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? कैटेगरी में बांटा गया है. 0 और 50 के बीच एक्यूआई को 'अच्छा', 51 और 100 के बीच 'संतोषजनक', 101 और 200 के बीच 'मध्यम', 201 और 300 के बीच 'खराब', 301 और 400 के बीच 'बेहद खराब' और 401 से 500 के बीच 'गंभीर' श्रेणी में माना जाता है.

भारत में एक्यूआई आठ प्रदूषण कारकों (PM10, PM 2.5, NO2, SO2, CO2, O3, NH3 और Pb) के आधार पर तय होती है. पिछले 24 घंटे में इन कारकों मात्रा के आधार पर हवा की गुणवत्ता को बताता है. इसके लिए किसी भी शहर के अलग अलग जगहों पर इसे लगाया जाता है. इसकी रीडिंग के आधार पर लोगों को स्वास्थ्य संबंधी दिशा निर्देश भी जारी किए जाते हैं.

IQA स्वास्थ्य प्रभाव वायु गुणवत्ता और चेतावनी
0 - 50 अच्छा वायु गुणवत्ता को संतोषजनक माना जाता है, और दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? वायु प्रदूषण कम या कोई जोखिम नहीं बनता है कोई नहीं
50 - 100 मध्यम वायु गुणवत्ता स्वीकार्य है; हालांकि, कुछ प्रदूषकों के लिए बहुत कम संख्या में लोगों के लिए एक मामूली स्वास्थ्य चिंता हो सकती है जो वायु प्रदूषण के लिए असामान्य रूप से संवेदनशील हैं। सक्रिय बच्चों और वयस्कों, और अस्थमा जैसी श्वसन रोग वाले लोगों को लंबे समय तक आउटडोर परिश्रम सीमित करना चाहिए।
100 - 150 अस्वास्थ्यकर संवेदनशील समूहों के लिए संवेदनशील समूहों के सदस्यों को स्वास्थ्य प्रभाव का अनुभव हो सकता है। आम जनता को प्रभावित होने की संभावना नहीं है। सक्रिय बच्चों और वयस्कों, और अस्थमा जैसी श्वसन रोग वाले लोगों को लंबे समय तक आउटडोर परिश्रम सीमित करना चाहिए।
150 - 200 अस्वस्थ हर किसी को स्वास्थ्य प्रभाव का अनुभव करना शुरू हो सकता है; संवेदनशील समूहों के सदस्यों को अधिक गंभीर स्वास्थ्य प्रभाव का अनुभव हो सकता है सक्रिय बच्चों और वयस्कों, और अस्थमा जैसी श्वसन रोग वाले लोगों को लंबे समय तक आउटडोर परिश्रम से बचना चाहिए; हर कोई, विशेष रूप से बच्चों को, लंबे समय तक आउटडोर परिश्रम सीमित करना चाहिए
200 - 300 बहुत अस्वस्थ आपातकालीन स्थितियों की स्वास्थ्य चेतावनियां। पूरी आबादी प्रभावित होने की अधिक संभावना है। सक्रिय बच्चों और वयस्कों, और अस्थमा जैसी श्वसन रोग वाले लोगों को सभी बाहरी परिश्रम से बचना चाहिए; हर कोई, खासकर बच्चों को, बाहरी परिश्रम को सीमित करना चाहिए।
300 - 500 खतरनाक स्वास्थ्य चेतावनी: हर किसी को अधिक गंभीर स्वास्थ्य प्रभाव का अनुभव हो सकता है हर किसी को सभी बाहरी परिश्रम से बचना चाहिए

Published at : 09 Nov 2020 11:30 AM (IST) Tags: Delhi air quality index Delhi pollution Smog Air Quality Index हिंदी समाचार, ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें abp News पर। सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट एबीपी न्यूज़ पर पढ़ें बॉलीवुड, खेल जगत, कोरोना Vaccine से जुड़ी ख़बरें। For दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? more related stories, follow: News in Hindi

Annual Global Liveability Index: विश्व में रहने योग्य नहीं है पाकिस्तान का कराची शहर, ग्लोबल लिवेबिलिटी इंडेक्स की सूची में मिला ये स्थान

Annual Global Liveability Index दुनिया में रहने के लिए शीर्ष 10 स्थानों की सूची में आस्ट्रिया का शहर वियना सबसे ऊपर है। जबकि खराब शहरों की सूची में पाकिस्तान का कराची शहर शामिल है। दुनिया के शीर्ष 10 सबसे खराब जगहों की सूची में कराची शहर भी शामिल है।

इस्लामाबाद, एजेंसी। Annual Global Liveability Index- इकोनॉमिस्ट इंटेलिजेंस यूनिट ने हाल ही में ग्लोबल लिवेबिलिटी इंडेक्स 2022 में रहने के लिए दुनिया की सबसे अच्छी और सबसे खराब जगहों का खुलासा किया है। इस लिस्ट में पाकिस्तान के कराची शहर का नाम भी शामिल है। इनमें कराची एक बार फिर दुनिया के शीर्ष 10 सबसे खराब जगहों में से एक है। कराची को इस बार सातवां स्थान मिला है। न्यूज इंटरनेशनल ने बताया कि रिपोर्ट में पांच कारकों के आधार पर 172 शहरों का विश्लेषण और चिह्नित किया गया। जिनमें बुनियादी ढांचे, स्वास्थ्य देखभाल, शिक्षा, संस्कृति दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? और मनोरंजन शामिल हैं।

इमरान खान की पूर्व पत्नी ने की तीसरी शादी।

पाकिस्तान पर है 250 बिलियन अमरीकी डालर का कर्ज

दरअसल, घटते विदेशी मुद्रा भंडार और बढ़ती मुद्रास्फीति के चलते पाकिस्तान आर्थिक पतन के कगार पर है और श्रीलंका में पैदा हुए आर्थिक हालात की ओर बढ़ रहा है। पाकिस्तान के मौजूदा आर्थिक सूचकांक काफी खराब हैं। यूएनडीपी के अनुसार, पाकिस्तान 250 बिलियन अमरीकी डालर से अधिक के कर्ज का सामना कर रहा है और कराची शहर देश की आर्थिक राजधानी होने के कारण भी गंभीर अस्थिरता के दौर से गुजर रहा है। जीवन संकट की लागत लाखों लोगों को गरीबी और यहां तक ​​कि लुभावनी गति से भुखमरी की ओर ले जा रही है और इसके साथ ही बढ़ती सामाजिक अशांति का खतरा दिन पर दिन बढ़ता जा रहा है।

पाकिस्तान को ही डराने लगा हरीक-ए-तालीबान पाकिस्तान (TTP)।

पाकिस्तान में लगातार खराब हुई आर्थिक स्थिति

फारेन एक्सचेंज एसोसिएशन आफ पाकिस्तान के अनुसार, 2022 की शुरुआत के बाद से पाकिस्तानी रुपया अपने मूल्य का 30 प्रतिशत से अधिक खो चुका है। विदेशी मुद्रा भंडार में तेजी से कमी पाकिस्तान के दोहरे घाटे की मुद्रास्फीति, विदेशी मुद्रा प्रवाह की कमी और विदेशी ऋण सेवा दायित्वों में तेज वृद्धि का कारण रही है। पाकिस्तान में मुद्रास्फीति जुलाई में दोहरे अंकों में पहुंच गई, जो लगभग छह वर्षों में सबसे बड़ी वृद्धि है। इसके अलावा देश में रहने की खराब स्थिति, चोरी, तस्करी, नशीली दवाओं की तस्करी और हिंसा ने सामाजिक और आर्थिक स्थिति को और खराब कर दिया है।

पाकिस्तान के पंजाब के सीएम को हटाया गया।

आस्ट्रिया की राजधानी वियना को मिला पहला स्थान

विशेष रूप से अच्छे बुनियादी ढांचे और स्थिरता के कारण दुनिया में सबसे अधिक रहने योग्य शहर ज्यादातर यूरोप और कनाडा में हैं। वहीं, आस्ट्रिया की राजधानी विएना दुनिया में रहने के लिए शीर्ष 10 स्थानों की सूची में सबसे ऊपर है। वियना ने 2018 और 2019 में भी शीर्ष स्थान हासिल किया था।

डेली न्यूज़

एसएंडपी वैश्विक भारत विनिर्माण क्रय प्रबंधक सूचकांक (PMI) के अनुसार, भारत के विनिर्माण क्षेत्र ने नए ऑर्डर और उत्पादन में मामूली तेज़ी दर्ज की जो जो मार्च 2022 के 54 से बढ़कर अप्रैल 2022 में 54.7 हो गई।

सूचकांक की मुख्य विशेषताएँ:

  • मार्च में नौ महीने के पहले संकुचन के बाद अप्रैल के आँकड़ों में नए निर्यात मांगों में एक बड़ा बदलाव देखा गया।
    • संकुचन, अर्थशास्त्र में व्यापार चक्र के एक चरण को संदर्भित करता है, इस दौरान अर्थव्यवस्था में गिरावट देखी जाती है।
    • संकुचन की स्थिति आमतौर पर व्यापार चक्र के शीर्ष पर पहुँचने के बाद होती है।

    क्रय प्रबंधक सूचकांक (PMI):

    • यह एक सर्वेक्षण-आधारित प्रणाली है। क्रय प्रबंधक सूचकांक (PMI) के दौरान विभिन्न संगठनों से कुछ प्रश्न पूछे जाते हैं, जिसमें आउटपुट, नए ऑर्डर, व्यावसायिक अपेक्षाएँ और रोज़गार जैसे महत्त्वपूर्ण संकेतक शामिल होते हैं, साथ ही सर्वेक्षण में भाग लेने वाले लोगों से इन संकेतकों को रेट करने के लिये भी कहा जाता है।
    • PMI का उद्देश्य कंपनी के निर्णयकर्त्ताओ, विश्लेषकों और निवेशकों को वर्तमान एवं भविष्य की व्यावसायिक स्थितियों के बारे में जानकारी प्रदान करना है।
    • यह विनिर्माण और सेवा क्षेत्रों की गणना अलग-अलग करता है, फिर एक समग्र सूचकांक भी बनाता है।
    • PMI को 0 से 100 तक के सूचकांक पर मापा जाता है।
      • 50 से ऊपर का स्कोर विस्तार, जबकि इससे कम स्कोर संकुचन को दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? दर्शाता है।
      • 50 का स्कोर कोई बदलाव नहीं दर्शाता है।
      • IHS मार्किट दुनिया भर में अर्थव्यवस्थाओं को चलाने वाले प्रमुख उद्योगों और बाज़ारों के लिये सूचना, विश्लेषण एवं समाधान हेतु एक वैश्विक मंच है।
      • आईएचएस मार्किट एसएंडपी ग्लोबल का हिस्सा है।
      • PMI की तुलना में IIP व्यापक औद्योगिक क्षेत्र को कवर करता है।
      • हालांँकि मानक औद्योगिक उत्पादन सूचकांक की तुलना में PMI अधिक गतिशील है।

      PMI का महत्व:

      • अर्थव्यवस्था को एक विश्वसनीय आंकड़े प्रदान करता है:
        • PMI दुनिया भर में व्यावसायिक गतिविधियों को सबसे अधिक ट्रैक करने वाले संकेतकों में से एक बन रहा है।
        • यह एक विश्वसनीय आंकड़ा प्रदान करता है कि एक अर्थव्यवस्था समग्र रूप से कैसे काम कर रही है विशेष रूप से विनिर्माण क्षेत्र में।
        • यह अर्थव्यवस्था में उछाल और हलचल चक्र का एक अच्छा मापक है और अर्थशास्त्रियों के अलावा निवेशकों, व्यापारियों और वित्तीय पेशेवरों द्वारा इस पर बारीकी से नज़र रखी जाती है।
        • PMI को आर्थिक गतिविधि का एक प्रमुख संकेतक भी माना जाता है क्योंकि इसे हर महीने की शुरुआत में जारी किया जाता है।
        • यह औद्योगिक उत्पादन, कोर सेक्टर मैन्युफैक्चरिंग और जीडीपी ग्रोथ के आधिकारिक आँकड़ों से पहले आता है।
        • PMI का उपयोग केंद्रीय बैंक की ब्याज दरें निर्धारित करने दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? के लिये भी किया जाता है।
        • इक्विटी बाज़ार की गतिविधियों को प्रभावित करने के अलावा PMI जारी बांँड और मुद्रा बाज़ारों को भी प्रभावित करता है।
        • PMI का अच्छा प्रेक्षण अन्य प्रतिस्पर्द्धी अर्थव्यवस्थाओं की तुलना में अर्थव्यवस्था के प्रति आकर्षण को बढ़ाता है।
        • आपूर्तिकर्त्ता PMI के उतार-चढ़ाव के आधार पर कीमतों के बारे में निर्णय ले सकते हैं।

        विगत वर्षों के प्रश्न:

        प्रश्न. एसएंडपी 500 किससे संबंधित है? (2008)

        (a)सुपर कंप्यूटर
        (b) ई-बिज़नेस की एक नई तकनीक
        (c) पुल निर्माण की एक नई तकनीक
        (d) बड़ी कंपनियों के शेयरों का एक सूचकांक

        CCPI Index: Climate Change में G20 में भारत का प्रदर्शन सबसे अच्छा, इन अमीर देशों का प्रयास बहुत खराब

        CCPI Index: Climate Change में G20 में भारत का प्रदर्शन सबसे अच्छा, इन अमीर देशों का प्रयास बहुत खराब

        डीएनए हिंदी: इंडोनेशिया के बाली में जारी G20 समिट में दुनिया में इकोनोमिक रिकवरी के साथ साथ पर्यावरण बदलाव (Climate Change) पर भी गंभीर चर्चा हुई. इसी बीच CCPI (Climate Change Performing Index) जारी हुआ है जिसमें भारत को 63 देशों में 8वां स्थान मिला है. वही बाकी पर्यावरण की दुहाई देने वाले कई अमीर देशों का प्रदर्शन बहुत खराब रहा है.

        क्या है CCPI (Climate Change Performing Index)?

        CCPI (Climate Change Performing Index) दुनिया भर के 59 देशों को पर्यावरण सुधार के लिए उठाए गए कदमों के आधार पर रैंक करता है. इंडेक्स में शामिल देश दुनिया भर में पैदा होने वाली 90 %ग्रीनहाउस गैसों के लिए जिम्मेदार हैं. इंडेक्स पेरिस एग्रीमेंट के लक्ष्य को आंकने के लिए अलग अलग देशों को 4 पैमानों पर रैंकिग देता है. ये पैमाने हैं - ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन (Green House Gas Emission) , नवीनीकृत उर्जा (Renewable Energy), उर्जा प्रयोग (Energy Use) और पर्यावरण नीति (Climate Policy).

        CCPI इंडेक्स के पहले तीन स्थान खाली

        CCPI इंडेक्स के पहले तीन स्थान पर किसी देश को जगह नहीं मिली है. दरअसल इस बार कोई भी देश CCPI इंडेक्स में 80 से ऊपर स्कोर नहीं पा सका है. रिपोर्ट के अनुसार किसी भी देश का किसी भी मानक पर ऐसा प्रदर्शन नहीं था जिसे टॉप 3 में शामिल किया जा सके.

        पिछले साल की तरह इस साल एक बार फिर डेनमार्क ने बाकी देशों के मुकाबले सबसे अच्छा काम किया है लेकिन फिर वो पहले तीन स्थानों में अपनी जगह नहीं बना पाया.

        भारत के CCPI स्कोर में सुधार

        पिछले साल के मुकाबले भारत के CCPI स्कोर और रैंकिंग में इजाफा हुआ है. इस बार भारत को 8वीं रैंक मिली है जबकि पिछले साल 10वीं रैंक थी. रिपोर्ट के अनुसार भारत अच्छा प्रदर्शन करने दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? वाले देशों में शामिल हैं. भारत का सबसे अच्छा प्रदर्शन ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन, उर्जा इस्तेमाल के वर्ग में रहा है. वहीं पर्यावरण नीति और नवीनीकृत उर्जा के क्षेत्र में मध्यम प्रदर्शन रहा है.

        रिपोर्ट के अनुसार भारत 2030 के अपने ग्रीन हाउस गैसों के उत्सर्जन लक्ष्यों को तो पूरा करने की राह पर है. हालांकि नवीनीकृत उर्जा के मामले में आशंका जताई गई है कि भारत इस क्षेत्र में अपने लक्ष्यों को पूरा नहीं कर पाएगा.

        भारत दुनिया के उन 9 देशों में शामिल है जहां कोयले का 90 % उत्पादन होता है. भारत ने कच्चा तेल और गैस के उत्पादन को 5 % बढ़ाने का लक्ष्य रखा है.

        कैसी है G20 देशों दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? की परफॉर्मेंस

        G20 देशों में भारत का नम्बर 8वां, यूके का 11वां और जर्मनी का 16वां स्थान है. 12 G20 देशों का प्रदर्शन खराब या अत्यंत खराब रहा है. G 20 देश दुनिया में 75 %से ज्यादा ग्रीन हाउस गैसें पैदा करने के लिए जिम्मेदार हैं. CCPI इंडेक्स में कनाडा, रुस, दक्षिण कोरिया और सउदी अरब G20 के सबसे खराब प्रदर्शन करने वाले देश हैं.

        यूरोपियन यूनियन पिछले साल के मुकाबले 3 स्थान बेहतर हुआ है. EU के 9 देश अच्छा और मध्यम प्रदर्शन रहा है. सबसे अच्छा प्रदर्शन करने वाले डेनमार्क (4था) और स्वीडन (5वां) स्थान हासिल हुआ है.

        इन अमीर देशों का प्रदर्शन बहुत खराब

        CCPI 2023 में सबसे खराब प्रदर्शन करने वाले देशों में कई अमीर देश शामिल हैं. इन देशों में जापान (50),चीन(51), यूएस(52), हंगरी(53), पोलेंड(54),आस्ट्रेलिया(55), मलेशिया (56), चाईनेज ताईपे (57), कनाडा (58), रुस(59), कोरिया (60), कजाकिस्तान (61) और सउदी अरब (62) शामिल हैं.

        Happiness Index: जानिए किन आधारों पर चुने जाते हैं दुनिया के सबसे हैप्पी देश, यहां देखें लिस्ट

        Happiness Index: 2021 के डाटा के अनुसार फिनलैंड दुनिया का सबसे हैप्पी राष्ट्र है। हैप्पीनेस इंडेक्स के लिए एक सैम्पल साइज को इकट्ठा किया जाता है और उनसे कुछ खास प्रश्न पूछे जाते हैं।

        happiness

        2021 में फिनलैंड रहा विश्व का सबसे खुश राष्ट्र।

        हाइलाइट्स

        • हैप्पीनेस इंडेक्स के आधार पर हर साल देशों की रैंकिंग की जाती है।
        • 2021 के अनुसार फिनलैंड है सबसे हैप्पी देश।
        • इस लिस्ट में दूसरा नंबर है डेनमार्क का।

        Top 20 Happiest Countries: ये हैं विश्व के 20 सबसे हैप्पी देश-

        1. फिनलैंड
        2. डेनमार्क
        3. स्विट्जरलैंड
        4. आइसलैंड
        5. नीदरलैंड
        6. नॉर्वे
        7. स्वीडन
        8. लक्ज़मबर्ग
        9. न्यूजीलैंड
        10. ऑस्ट्रिया
        11. ऑस्ट्रेलिया
        12. इजराइल
        13. जर्मनी
        14. कनाडा
        15. आयरलैंड
        16. कोस्टा रिका
        17. यूनाइटेड किंगडम
        18. चेक गणराज्य
        19. संयुक्त राज्य अमेरिका
        20. बेल्जियम

        2021 के डाटा के अनुसार फिनलैंड दुनिया का सबसे हैप्पी राष्ट्र है। हैप्पीनेस इंडेक्स के लिए एक सैम्पल साइज को इकट्ठा किया जाता है और उनसे कुछ खास प्रश्न पूछे जाते हैं। इन्हीं प्रश्नों के आधार पर डाटा तैयार किया जाता है। आइए जानते हैं कि डाटा इकट्ठा करते समय किन प्रश्नों को पूछा जाता है।

        1. सोशल सपोर्ट के आधार पर

        सबसे पहले यह पूछा जाता है कि यदि आप मुसीबत में थे, तो क्या दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? आपके दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? किसी रिश्तेदार या दोस्त ने मदद की जब आपको सबसे उनकी सबसे ज्यादा जरूरत थी? आपको इसे 0 से 10 के पैमाने पर रेट करना होगा, जहां 0 यह दर्शाता है कि आप अपने परिवार और दोस्तों पर आपकी मदद के लिए भरोसा नहीं करते हैं, और 10 का मतलब होगा कि आप उन पर 100% भरोसा करते हैं। 0 से 10 के पैमाने को कंट्रोल लाइफ लैडर कहा जाता है, जहां 10 आपके लिए सबसे अच्छा संभव जीवन है और 0 सबसे खराब संभव जीवन है। यह प्रश्न एक विशिष्ट देश में 1,000-3,000 लोगों से पूछा जाता है, जो उसका सैम्पल साइज बन जाता है। ये सर्वेक्षण गैलप वर्ल्ड पोल एजेंसी द्वारा किए जाते हैं।

        2. जीवन में चुनाव करने की आजादी

        हैप्पीनेस इंडेक्स के सर्वे में यह प्रश्न भी पूछा जाता है कि क्या आप अपने जीवन के साथ जो करते हैं उसे चुनने की अपनी स्वतंत्रता से संतुष्ट या असंतुष्ट हैं? क्योंकि जीवन में पसंद की चीज चुनने की आजादी भी हमारी खुशियों में शामिल होती है। यह दुनिया में सबसे अच्छा संकेतक क्या है? प्रश्न किसी के करियर की पसंद, धर्म को मानने की इच्छा, उसके द्वारा खाए जाने वाले भोजन, उसके द्वारा पहने जाने वाले कपड़े, और बहुत कुछ जैसे पहलुओं की पसंद पर आधारित है।

        3. उदारता
        क्या आपने पिछले एक महीने में किसी चैरिटी को पैसा दिया है? अब यह एक दिलचस्प सवाल है क्योंकि माना जाता है कि केवल वही व्यक्ति दान करेगा जो अपने जीवन से खुश है। कई वैज्ञानिक शोधों ने बार-बार इस बात की ओर इशारा किया है कि जब कोई व्यक्ति दूसरों की मदद करता है और इससे उन्हें खुशी मिलती है, तो मदद करने वाला भी खुश हो जाता है।

        4. भ्रष्टाचार की धारणा
        इसके तहत एक बहुत ही सीधा सवाल पूछा जाता है कि क्या भ्रष्टाचार पूरे सरकार में फैला हुआ है या नहीं? व्यापार में भ्रष्टाचार फैला है या नहीं? देश में भ्रष्टाचार का ना होना हैप्पीनेस को दर्शाता है।

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